एक्सप्रेसवे पर हिलती गाड़ियों का ये वीडियो टर्की में आये हालिया भूकंप का नहीं है

  • यह आर्टिकल एक साल से अधिक पुराना है.
  • प्रकाशित 17 फरवरी 2023, 12h38
  • 3 मिनट
  • द्वारा AFP बांग्लादेश
  • अनुवाद और अनुकूलन Anuradha PRASAD
एक पुराना वीडियो सोशल मीडिया पर इस दावे के साथ शेयर किया जा रहा है कि ये टर्की में आये हालिया भूकंप के दौरान एक्सप्रेसवे पर हिलते हुए वाहनों को दिखाता है. मालूम हो कि टर्की और सीरिया में हाल ही में भयंकर भूकंप के झटकों में हज़ारों लोग मारे गए थे. हालांकि यूट्यूब पर मिला ये वीडियो असल में 2011 में जापान की राजधानी टोक्यो में आये भूकंप का है.

फ़ेसबुक पर 8 फ़रवरी, 2023 को यहां शेयर किये गए वीडियो के साथ लिखा गया, “तुर्की में एक कार के अंदर से लिया हुआ लाइव वीडियो.” ये करीब एक लाख बार देखा जा चुका है.

फ़ुटेज देखकर मालूम होता है कि ये एक्सप्रेसवे पर किसी वाहन के भीतर से बनाया गया है जहां अचानक एक्सप्रेसवे और उसपर खड़ी गाड़ियां हिलने लगती हैं.

अधिकारियों ने बताया कि 7.8 की तीव्रता से आये भूकंप के कारण टर्की में 31,643 और सीरिया में 3,581 लोगों की जान गयी. यानी, आकड़ों के मुताबिक इस भयंकर घटना में कुल 35,224 लोग मारे जा चुके हैं.

संयुक्त राष्ट्र ने कहा है कि ये आंकड़े और बढ़ने की शंका हैं क्योंकि मलबे में फंसे और लोगों को ज़िंदा बाहर निकालने के आसार हर रोज़ कम होते जा रहे हैं.

इस भूकंप के बाद एक के बाद एक भ्रामक सूचनाएं शेयर की गयीं. ऐसे कुछ गलत दावे एएफ़पी ने यहां, यहां, यहां और यहां फ़ैक्ट-चेक किया है.

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भ्रामक पोस्ट का 14 फ़रवरी, 2023 को लिया गया स्क्रीनशॉट

कार की डैश-कैम से बनाये गए इस वीडियो को फ़ेसबुक पर यहां शेयर किया गया. इसे बांग्लादेश में भी ग़लत दावे के साथ यहां और यहां शेयर किया गया.

यही वीडियो गलत दावे के साथ अरबी कैप्शन के साथ यहां लाखों बार देखा जा चुका है.

हालांकि ये वीडियो पुराना है और इसमें जापान की एक घटना नज़र आ रही है.

फ़ुटेज के कीफ़्रेम्स का गूगल पर रिवर्स इमेज सर्च करने पर हमें ये यूट्यूब पर मिला जिसे यहां 19 फ़रवरी, 2019 को अपलोड किया गया था.

जापानी भाषा में लिखे इसके कैप्शन का हिंदी अनुवाद है, “3.11 तीव्रता से आये भूकंप के समय मेट्रोपोलिटन एक्सप्रेसवे रूट 6, भाग 3.”

वीडियो के नीचे इसकी तारीख़ इशारा करती है कि ये 11 मार्च, 2011 का वीडियो है.

इस दिन जापान में 9.0 की तीव्रता से आये भूकंप के बाद उठे सुनामी से देश के उत्तरपूर्वी तटीय क्षेत्रों में बसे समुदायों को भारी जान-माल का नुकसान हुआ था.

देश के इतिहास में एक शताब्दी में आये सबसे तगड़े भूकम्पों में से एक इस घटना में लहरों की चपेट में आकर करीब 18,500 लोग मारे गए या लापता हुए थें.

यही नहीं, फ़ुकुशिमा दाईची न्यूक्लियर प्लांट में लीकेज से पूरे इलाके में रेडिएशन फैल गया था जिसके कारण आस-पास की जगह कई वर्षों तक रहने लायक नहीं बची और हज़ारों-लाखों लोगों को स्थानांतरित करना पड़ा था.

नीचे भ्रामक पोस्ट (बाएं) और यूट्यूब वीडियो (दाएं) के स्क्रीनशॉट की तुलना देख सकते हैं:

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भ्रामक पोस्ट (बाएं) और यूट्यूब वीडियो (दाएं) के स्क्रीनशॉट की तुलना

यूट्यूब वीडियो के नीचे जगह के कॉर्डिनेट्स भी दिए हैं जो उस जगह के कॉर्डिनेट्स से मिलते हैं जहां वीडियो बनाया गया था.

गूगल मैप्स पर इस कॉर्डिनेट्स को सर्च करने पर वीडियो में दिख रहा हाईवे मिलता है जो टोक्यो में है.

नीचे भ्रामक पोस्ट (बाएं) और गूगल मैप्स पर हाईवे (दाएं) के स्क्रीनशॉट की तुलना देख सकते हैं जहां समानताओं को चिन्हित किया गया है:

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भ्रामक पोस्ट (बाएं) और गूगल मैप्स पर हाईवे (दाएं) के स्क्रीनशॉट की तुलना
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