2020 के दिल्ली दंगों की पुरानी फ़ुटेज ग़लत दावे के साथ वायरल
- यह आर्टिकल एक साल से अधिक पुराना है.
- प्रकाशित 10 नवंबर 2021, 16h05
- अपडेटेड 10 नवंबर 2021, 16h38
- 3 मिनट
- द्वारा एफप भारत
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इस वीडियो को यहां 2 नवंबर 2021 को ट्विटर पर शेयर किया गया है.
ट्वीट के साथ कैप्शन में लिखा है: "त्रिपुरा दंगे पर दलाल मीडिया ने कुछ नहीं बताया मगर बीबीसी न्यूज़ ने सारी पोल खोल कर रख दी."
वायरल वीडियो BBC की एक रिपोर्ट का हिस्सा है जिसमें पुलिसकर्मी, एक भीड़ के साथ, बैरिकेड के दूसरी ओर कुछ लोगो पर भयंकर बल प्रयोग करते नज़र आ रहे हैं.
ये वायरल वीडियो अक्टूबर में त्रिपुरा में हिंदुत्ववादी समूहों द्वारा मुस्लिमों पर की गई हिंसा से जोड़कर शेयर किया जा रहा है.
इस हिंसा में कम से कम चार मस्जिदों को नुक़सान पहुँचाया गया है. विश्व हिंदू परिषद की एक रैली के दौरान मुस्लिम समुदाय के लोगों की दुकानों और घरों में तोड़फोड़ की भी खबरें आई हैं.
त्रिपुरा की ये साम्प्रदायिक हिंसा दरअसल बांग्लादेश में हिंदू अल्पसंख्यकों के साथ हुई हिंसा की प्रतिक्रिया स्वरूप हुई थी.
त्रिपुरा में हिंसा के दावे के साथ वायरल इस वीडियो को ट्विटर पर यहां और यहां, जबकि फ़ेसबुक पर यहां और यहां शेयर किया गया है.
लेकिन ये दावा ग़लत है.
वीडियो का एक साधारण रिवर्स इमेज सर्च करने पर हमने पाया कि बिल्कुल यही वीडियो 3 मार्च 2020 को BBC इंडिया के ट्विटर पर शेयर किया गया था. इस वीडियो को BBC ने न्यूज़ प्रोग्राम में भी प्रसारित किया गया था.
ट्वीट क अनुसार ये वीडियो फ़रवरी 2020 में हुए मुस्लिम विरोधी दिल्ली दंगों की एक खोजी रिपोर्ट का था. इस हिंसा में लगभग 50 से ज़्यादा लोगों की मौत हुई थी.
इस रिपोर्ट को न्यूज़ प्रोग्राम के 0:31 सेकेंड के हिस्से में देखा जा सकता है.
The BBC has found Delhi police acted along Hindu rioters during a wave of attack on Muslims last week. Police in the capital are coming under increasing pressure as allegations of complicity in the clashes emerge. An investigation by @yogital, @shaluyadavbbc & @NickWoolley1234pic.twitter.com/i6oSmpkP1r
— BBC News India (@BBCIndia) March 3, 2020
नीचे भ्रामक पोस्ट (बायें) और BBC इंडिया के ट्वीट में लगे न्यूज़ प्रोग्राम के वीडियो (दायें) के स्क्रीनशॉट के बीच एक तुलना है.
त्रिपुरा की बताकर शेयर की जा रही बाक़ी अन्य भ्रामक पोस्ट में भी BBC के इसी वीडियो के अलग अलग हिस्सों को शेयर किया गया है.
BBC की इस खोजी रिपोर्ट के ऑरिजनल वीडियो को 28 अगस्त 2020 को BBC की पत्रकार योगिता लिमये ने भी इसे ट्विटर पर शेयर किया था. योगिता ने ही इस खोजी रिपोर्ट को किया है.
योगिता के ट्वीट में एमनेस्टी इंडिया की एक रिपोर्ट का ज़िक्र है जो दिल्ली दंगों में पुलिस की भूमिका पर है, जो मार्च 2020 की BBC की ऑरिजनल रिपोर्ट में ही है.
BBC इंडिया के एक प्रतिनिधि ने 3 नवंबर 2021 को AFP को बताया कि भ्रामक पोस्ट में शेयर किये जा रहे वीडियो को BBC ने मार्च 2020 में लिया था.
AFP ने त्रिपुरा हिंसा से जोड़कर शेयर किये जा रहे तमाम भ्रामक पोस्ट का फ़ैक्ट-चेक पहले भी किया है जिसे आप यहां, यहां और यहां पढ़ सकते हैं.